पहले मांगते थे भीख अब हो रहे है शिक्षित
भिखारियों को सशक्त बनाता स्माइल प्रोजेक्ट,
दैनिक इंडिया न्यूज लखनऊ। बुद्धवार को उ.प्र.के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भिक्षावृत्ति के खिलाफ सरकारी कार्रवाई का उल्लेख करते हुए बताया कि वे दिव्यांग बनाने वाले गिरोहों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की घोषणा कर चुके हैं, जिससे बच्चों को भिक्षावृत्ति से मुक्ति मिल सके। उन्होंने ‘स्माइल’ परियोजना की शुरुआत की है, जिसका मुख्य उद्देश्य भिक्षावृत्ति से मुक्त हुए बच्चों को समाज में उचित स्थान प्रदान करना है। उन्होंने अपने सरकारी आवास पर प्रमाण पत्र और शैक्षणिक किट भी वितरित कीये, जिससे ‘मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना’ (सामान्य) और ‘स्माइल’ परियोजना के लाभार्थियों को आवश्यक साधन प्रदान हो सके।
इस अवसर पर कार्यक्रम के बीच, योगी आदित्यनाथ ने व्यक्त किया कि हमें खुशी हो रही है कि 102 बच्चे भिक्षावृत्ति से मुक्त हो गए हैं और हमारी सरकार इन बच्चों के भविष्य की देखभाल के लिए उन्हें स्वयंसेवी संस्थाओं से जोड़ रही है। उन्होंने बताया कि हमारा लक्ष्य है कि हर गरीब बच्चा शिक्षा प्राप्त करें और अपने जीवन में सफलता की प्राप्ति करें, इसलिए बेसिक शिक्षा परिषद ने 2017 से ही सभी बच्चों को स्कूली वर्दी, बैग, पुस्तकें, स्वेटर, जूते और मोजे उपलब्ध करवाए हैं।
सी एम योगी ने बताया कि लगभग 1.91 करोड़ बच्चे वर्तमान में प्रदेश में इस सुविधा से लाभान्वित हो रहे है जिसकी महत्ता हमारे लिए अत्यंत प्रधान है। हमें अपने जीवन में प्रगति करने के लिए सकारात्मक सोच के साथ आगे बढ़ना चाहिए, ताकि हम सफलता की ओर अग्रसर हो सकें। हर कार्यक्रम को पारदर्शिता के साथ प्रोत्साहित करना अत्यधिक आवश्यक है, ताकि हम उसे पूर्णतः सफल बना सकें। मुख्यमंत्री ने बताया कि हमारी सरकार अटल आवासीय विद्यालय बना रही है, जिसमें पंजीकृत श्रमिकों और उन बच्चों के लिए जो अपने अभिभावकों को खो चुके हैं। इस विद्यालय में, बच्चों को कक्षा 1 से 12 तक मुफ्त शिक्षा प्रदान की जाएगी, जो सीबीएसई पैटर्न पर आधारित होगी।
आपको बता दें कि आध्यात्मिक और सांस्कृतिक पहचान रखने वाली काशी, योगी सरकार द्वारा अपने नाम के अनुरूप परिवर्तित की जा रही है। सरकार द्वारा शुरू किए गए “भिखारी मुक्त काशी अभियान” से, विश्व भर से आने वाले पर्यटकों को एक सुंदर चित्र के रूप में काशी का परिचय दिया जा रहा है। इस अभियान के तहत, भिक्षावृत्ति में जीवन यापन करने वाले लोगों की पहचान की जा रही, साथ ही उनका संरक्षण काउंसलिंग और पुनर्वास भी दिलाया जा रहा है। जिला समाज कल्याण विभाग द्वारा दूसरे जिले के भिक्षुकों को उनके गृह जिले में भेजा जा रहा है। भिखारियों का चिह्नीकरण, डेटा संकलन के साथ उनको भी सचेत किया जा रहा है।
कोरोना काल में अनाथ हुए बच्चों के लिए आगे आयी योगी सरकार
गौरतलब हो कि, मई 2021 कोरोना काल में कई बच्चों ने अपने माता-पिता को खो दिया ऐसे में योगी सरकार ने ऐसे बच्चों के वयस्क होने तक 4000 रुपये प्रति माह वित्तीय सहायता उनके केयरटेकर को उपलब्ध कराने का फैसला लिया। वहीं, 10 साल से कम आयु के ऐसे बच्चे जिनका कोई केयरटेकर नहीं है, उनके आवास, खर्चे की भी व्यवस्था के साथ बाल गृह में व्यवस्था कराने का भी फैसला योगी सरकार द्वारा पूर्व में किया गया है। यही नहीं कोरोना काल में अनाथ हुई बेटियों की शादी में भी सरकार 1.10 लाख रुपये तक की मदद करने का फैसला किया।
100 निराश्रितों की स्थिति सुधारने के साथ ही 200 से अधिक भिखारियों को दिया पुनर्वास : स्माइल
SMILE द्वारा लगभग 100 निराश्रित और विशेष रूप से विकलांग व्यक्तियों के लिए सहायता की है, उनके रहने की स्थिति को सुधारने के लिए आवश्यक सेवाएं जैसे भोजन, परामर्श, योग और मनोरंजन प्रदान की है। इस परियोजना ने 200 से अधिक भिखारियों को पुनर्वास दिया है और गणतंत्र दिवस परेड में 45 समुदायों के सदस्यों को शामिल करके उनके परिवर्तन की प्रदर्शन की है। SMILE ने विश्व में अपनी योगदानपूर्ण उपस्थिति बनाई है और इसके माध्यम से सामाजिक संरचना में सकारात्मक परिवर्तनों को प्रोत्साहित किया है।