मेडिकल सिंबल और सांप का कनेक्शन: क्यों छड़ी पर लिपटे होते हैं दो सांप?

मेडिकल साइंस ने आज दुनियाभर में बहुत प्रगति कर ली है, लेकिन जब भी मेडिकल साइंस के लिए सिंबल का इस्तेमाल किया जाता है, उसमें छड़ी पर लिपटे हुए सांप का सिंबल दिखाई देता है। सवाल यह है कि आखिर मेडिकल साइंस के लिए इस सांप वाले सिंबल का इस्तेमाल क्यों किया जाता है और इसका सांप से क्या संबंध है?

आज हम आपको बताएंगे कि मेडिकल के लिए सांप वाली छड़ी का सिंबल कहां से और कैसे आया था। दुनियाभर में बीते कुछ दशकों से मेडिकल साइंस ने बहुत तरक्की की है। आज दुनियाभर में कई मेजर सर्जरी से लेकर कोरोना वायरस जैसी बीमारियों की दवाएं और वैक्सीन बाजार में उपलब्ध हैं। यह सब कुछ मेडिकल साइंस के कारण ही संभव हुआ है। लेकिन जब भी आप मेडिकल से जुड़े किसी सेंटर में जाएंगे, तो आपको वहां पर सांप और लाठी से जुड़ा सिंबल देखने को मिलेगा। इतना ही नहीं, डॉक्टर के प्रिस्क्रिप्शन, एंबुलेंस, फार्मास्युटिकल कंपनियों और कर्मचारियों की वर्दी तक पर भी यही सिंबल दिखाई देता है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के लोगो में भी यह सिंबल मौजूद है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि यह सिंबल आखिर कहां से आया है और सांपों का मेडिकल से क्या संबंध है?

सांप

सांप को दुनिया का सबसे खतरनाक और जहरीला जानवर माना जाता है। कुछ सांप इतने खतरनाक होते हैं कि उनके काटने के बाद अगर समय से इलाज नहीं मिलता, तो व्यक्ति की मौत हो सकती है। लेकिन मेडिकल सिंबल में एक छड़ी पर दो सांप दोनों तरफ से लिपटे होते हैं और ऊपर की तरफ पंख होता है। जानकारी के मुताबिक, एक डंडे के चारों ओर लिपटे हुए सांप को दिखाने वाला सिंबल चिकित्सा और उपचार के प्राचीन यूनानी देवता एस्क्लेपियस से आया है। इसे एस्कुलेपियन रॉड कहा जाता है।

ग्रीक मिथक के मुताबिक, एस्क्लेपियस गंभीर रूप से बीमार को स्वस्थ कर सकता था और यहां तक कि मरे हुए को भी जिंदा कर सकता था। माना जाता है कि एस्क्लेपियस का सांपों से गहरा संबंध था। इसलिए वे उसके सार्वभौमिक प्रतीक बन गए थे। प्राचीन यूनानियों का मानना था कि सांप उपचार शक्तियों वाले पवित्र प्राणी थे। ऐसा इसलिए था, क्योंकि उनके जहर में इलाज की शक्तियां थीं, जबकि उनकी त्वचा को त्यागने की क्षमता पुनर्जनन, पुनर्जन्म और नवीकरण के कार्य की तरह लगती थी। इसलिए सांप को उपचार का देवता कहा जाता था।

सांपों से मिला इलाज करने का तरीका

ग्रीक पौराणिक कथाओं के मुताबिक, एस्क्लेपियस ने अपनी कुछ उपचार शक्तियां सांपों से सीखी थीं। एक कहानी के मुताबिक, उन्होंने जानबूझकर एक सांप को मार डाला था, जिसके बाद वे देखना चाहते थे कि दूसरा सांप उसे जड़ी-बूटियों का उपयोग करके फिर से कैसे जिंदा करता है। इससे एस्क्लेपियस ने सीखा कि मरे हुए लोगों को कैसे फिर से जिंदा किया जा सकता है। एक अन्य कहानी के मुताबिक, एस्क्लेपियस एक सांप की जान बचाने में कामयाब हुए थे। इसके बाद सांप ने चुपचाप एस्क्लेपियस के कान में फुसफुसाकर अपने उपचार रहस्य बताए थे। यूनानियों का यह भी मानना था कि एस्क्लेपियस में लोगों को घातक सर्पदंश से ठीक करने की क्षमता थी। प्राचीन ग्रीस में बहुत सारे सांप थे, इसलिए यह कौशल बहुत काम आता था।

मेडिकल के सिंबल में छड़ी पर लिपटे हुए सांप का चित्रण एस्क्लेपियस की पौराणिक कथाओं से आया है। यह सिंबल चिकित्सा और उपचार की शक्ति को दर्शाता है, जो प्राचीन यूनानी चिकित्सा पद्धतियों और विश्वासों पर आधारित है। सांपों के विष और उनकी पुनर्जनन क्षमता ने उन्हें चिकित्सा के प्रतीक के रूप में प्रतिष्ठित किया है।

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