अधिकारी मस्त किसान पस्त, मुख्यमंत्री की उम्मीदों पर पानी फेर रहा है सहकारिता विभाग

ब्यूरो डेस्क दैनिक इंडिया न्यूज

मधुबन,मऊ। स्थानीय तहसील क्षेत्र के साधन सहकारी समिति पर डीएपी का कोटा है। किसान समितियों पर जाते हैं तो खाद नहीं मिलने पर ही वापस हो जाते हैं। गेहूं और आलू की बुआई के लिए किसानो को खाद की सख्त आवश्यकता है। जिससे मजबूरन किसानो को बाजार से मंहगे दामों में खरीदना पड़ रहा है। खाद न होने के कारण समितियों पर सन्नाटा पसरा हुआ है। किसान खाद आने की जानकारी करते हुए केन्द्रों पर भटक रहे हैं। डीएपी के बाद अब जनपद में यूरिया खाद का भी संकट किसानों को परेशान करने लगा है। वहीं उप कृषि निदेशक एसपी श्रीवास्तव का कहना है कि साधन सहकारी समिति पर डीएपी खाद पहुंचाई जा रही है। जबकि सहायक आयुक्त जगदीश प्रसाद वर्मा का कहना है कि समितियों पर डीएपी की कमी है।रबी फसल की तैयारी में लगे किसानों के सामने सबसे बड़ी समस्या डीएपी की कमी है। किसान बाजार और समितियों का चक्कर लगा रहे हैं। लेकिन उन्हें निराशा ही मिल रही है। इससे आलू सरसों आदि की बुआई पिछड़ रही है। किसानों को समितियों से डीएपी नहीं मिलने से किसान आलू,सरसों और गेहूं की बुआई को लेकर चिंतित हैं। प्रतिदिन किसान समिति पर पहुंच रहे हैं और डीएपी नहीं मिलने के कारण वापस मायूस लौट जाते हैं।

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